बिना कोचिंग आईएएस बनीं सर्जना यादव, कई प्रयासों में असफलता मिलने के बाद भी नहीं मानी हार, पढ़िए संघर्ष भरी कहानी
Kuldeep Khandelwal/ Niti Sharma/ Kaviraj Singh Chauhan/ Vineet Dhiman
आज हम आपको एक ऐसी आईएएस अधिकारी के बारे में बताने जा रहे हैं, जिनका मानना है कि यूपीएससी परीक्षा की तैयारी के दौरान उम्मीदवारों को सिमित किताबें पढ़नी चाहिए। हम बात कर रहे हैं, आईएएस सर्जना यादव की, सर्जना 2019 बैच की अधिकारी हैं। यूपीएससी परीक्षा में सफलता पाने के लिए उम्मीदवारों को कई साल लग जाते हैं। अधिकांश उम्मीदवार इस परीक्षा में प्रतिभाग करने के लिए कोचिंग का सहारा लेते हैं लेकिन कुछ उम्मीदवार इस परीक्षा को सेल्फ स्टडी के दम पर क्लियर करते हैं, उनमें से एक नाम सर्जना यादव का भी है।
कई प्रयासों में असफलता मिलने के बाद भी सर्जना ने हार नहीं मानी और साल 2019 में उन्होंने सिविल सेवा के इम्तिहान में ऑल इंडिया 126 वीं रैंक हासिल की। आईएएस सर्जना यादव ने दिल्ली विश्वविद्यालय से इंजीनियरिंग में ग्रेजुएशन की है। ग्रेजुएशन की पढ़ाई करने के बाद उन्होंने यूपीएससी की तैयारी करने का फैसला लिया।सर्जना ने शुरू के प्रयासों में असफल होने के बाद अपनी नौकरी छोड़ दी और परीक्षा पास करने के लिए अधिक मेहनत की। इसका उन्हें फल भी मिला और वह आईएएस अफसर बन गईं। यूपीएससी की तैयारी करने वाले उम्मीदवारों से सर्जना कहती हैं कि अधिक किताबें पढ़ने की जगह उम्मीदवार को सीमित किताबें पढ़नी चाहिए। उम्मीदवार को उन किताबों को बार-बार पढ़ते रहना चाहिए। सर्जना का कहना है कि गूगल पर विषयों की जानकारी, वीडियो और ट्यूटोरियल मिल जाएंगे जिससे आपके मन में एक भी डाउट नहीं रहेगा।