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चमोली सहकारी बैंक ने बांटे 1370 करोड़ के ऋण, लखपति दीदी बनाने का लक्ष्य

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सीएम धामी ने ‘लोकल फॉर वोकल’ को बताया विकास की कुंजी

गोपेश्वर। पुलिस लाइन मैदान गोपेश्वर में सात दिवसीय सहकारिता मेला 2025 का शुभारंभ किया गया। मेले का उद्घाटन सहकारिता मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने वर्चुअल माध्यम से किया, जबकि मुख्य अतिथि के रूप में थराली विधायक श भूपाल राम टम्टा उपस्थित रहे। कार्यक्रम की अध्यक्षता नगर पालिका परिषद गोपेश्वर के अध्यक्ष संदीप रावत ने की। मेले में भाजपा जिलाध्यक्ष गजपाल बर्तवाल, जिला सहकारी बैंक के पूर्व अध्यक्ष गजेन्द्र सिंह रावत, वरिष्ठ नागरिक कल्याण परिषद के अधिकारीगण, जनप्रतिनिधि, सामाजिक कार्यकर्ता और बड़ी संख्या में स्थानीय लोग मौजूद रहे।

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने वीडियो संदेश में सहकारिता को आर्थिक व्यवस्था से परे समाज को जोड़ने और छोटे किसानों, महिला समूहों, श्रमिकों और ग्रामीण समुदाय को सशक्त बनाने का माध्यम बताया। उन्होंने कहा कि अंतरराष्ट्रीय सहकारिता वर्ष–2025 और राज्य स्थापना के रजत जयंती वर्ष में आयोजित यह मेला “लोकल फॉर वोकल” को बढ़ावा देने और सामूहिक विकास को गति देने का महत्वपूर्ण अवसर है। मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि प्रधानमंत्री के नेतृत्व में सहकारिता क्षेत्र को तकनीकी सशक्तीकरण, डिजिटलीकरण, प्रशिक्षण और बाजार से जोड़ने के माध्यम से राष्ट्रीय विकास की मुख्य धारा में नई ऊर्जा मिल रही है।

वर्चुअल माध्यम से संबोधित करते हुए सहकारिता मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने कहा कि सहकारी मेला सामूहिक चेतना का उत्सव है और चमोली जिला अपनी प्राकृतिक विविधता और सामूहिकता की भावना के लिए जाना जाता है। उन्होंने बताया कि प्रदेश के छह जनपदों में आयोजित सहकारिता मेलों में एक लाख से अधिक किसानों ने भाग लिया है। सहकारी समितियों में महिलाओं को 33 प्रतिशत आरक्षण के परिणामस्वरूप 281 महिलाएं अध्यक्ष, 159 उपाध्यक्ष और 2517 महिलाएं संचालक चुनी गई हैं।

चमोली जिला सहकारी बैंक द्वारा अब तक 1370 करोड़ रुपये का ऋण वितरण किया गया है और जिले में तीन नई शाखाएं खोली जानी हैं। दीन दयाल उपाध्याय योजना के तहत प्रदेश के 15 लाख से अधिक किसानों को शून्य ब्याज पर ऋण दिया गया है, जिसमें चमोली के 25,767 किसान शामिल हैं। सरकार का लक्ष्य 10,000 से अधिक “लखपति दीदी” तैयार करना है।

विधायक भूपाल राम टम्टा ने कहा कि सहकारिता के माध्यम से महिलाओं और युवाओं को स्वरोजगार के अवसर तेजी से बढ़े हैं और कोविड-19 के बाद हुए रिवर्स पलायन को सहकारिता ने स्थायी आजीविका में बदलने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।

भाजपा जिलाध्यक्ष गजपाल बर्तवाल ने महिला समूहों द्वारा गांव-गांव में आर्थिक गतिविधियों के विस्तार को सराहनीय बताया। जिला सहकारी बैंक के पूर्व अध्यक्ष गजेन्द्र रावत ने कहा कि स्वयं सहायता समूहों ने शून्य ब्याज ऋण लेकर आत्मनिर्भरता की दिशा में उल्लेखनीय प्रगति की है और पैक्स के माध्यम से ग्रामीणों को जरूरी सामान अब गांव में ही उपलब्ध हो पा रहा है।

मेले के दौरान सांस्कृतिक कार्यक्रम भी आकर्षण का केंद्र रहे, जिनमें राजकीय बालिका इंटर कॉलेज द्वारा स्वागत बंधन, राजकीय महाविद्यालय गोपेश्वर द्वारा लोकनृत्य, टंगसा महिला मंगल दल द्वारा लोकगीत तथा रूद्रेश कला मंच द्वारा वित्तीय समावेशन और साइबर सुरक्षा पर आधारित नृत्य-नाट्य शामिल रहे। तकनीकी सत्र में विशेषज्ञों ने वित्तीय समावेशन, डिजिटल सुरक्षा और सहकारी व्यवस्था से जुड़ी महत्वपूर्ण जानकारियां साझा कीं।

कार्यक्रम में मातृशक्ति सशक्तिकरण ऋण योजना और भारत दर्शन ऋण योजना का विमोचन किया गया। बहुउद्देशीय साधन सहकारी समितियों के माध्यम से 19 लाभार्थियों को 21 लाख रुपये के चेक वितरित किए गए, जबकि एम-पैक्स, मैठाणा, गौणा, पीपलकोटी, छिनका, गोपेश्वर, मुन्दोली, नलधूरा और तुंगेश्वर समितियों को माइक्रो एटीएम मशीनें प्रदान की गईं। मेले के प्रथम दिवस में बड़ी संख्या में किसानों, महिलाओं और स्थानीय नागरिकों की भागीदारी रही।

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